सिरसा जिले में सूक्ष्म, लघु उद्यमों की आय एवं प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के प्रभाव का एक अध्ययन
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प्रधानमंत्री मुद्रा योजना (च्डडल्) भारत सरकार की एक क्रांतिकारी पहल है, जिसका उद्देश्य सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (डैडम्) को वित्तीय सहायता प्रदान करना और स्वरोजगार को बढ़ावा देना है। यह योजना 8 अप्रैल 2015 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा शुरू की गई थी। यह विशेष रूप से उन छोटे व्यवसायों को लक्षित करती है, जो बैंकिंग प्रणाली के दायरे में नहीं आते थे और अक्सर स्थानीय साहूकारों पर निर्भर रहते थे। यह योजना “मुद्रा” नामक संस्था के माध्यम से कार्य करती है, जिसका मुख्य कार्य वित्तीय संस्थानों को रिफाइनेंस करना और छोटे व्यवसायों के लिए वित्तीय मदद सुनिश्चित करना है। इस योजना के तहत छोटे व्यवसायों और स्वरोजगार करने वालों को बिना किसी गारंटी के ऋण प्रदान किया जाता है। इसे तीन श्रेणियों में विभाजित किया गया हैः ’’शिशु’’ (50,000 तक), ’’किशोर’’ (50,001 से 5 लाख तक) और ’’तरुण’’ (5 लाख से 10 लाख तक) यह संरचना उद्यमियों की विभिन्न चरणों की जरूरतों को पूरा करने के लिए तैयार की गई है, जैसे कि नया व्यवसाय शुरू करना, मौजूदा व्यवसाय का विस्तार करना या उपकरण और कच्चे माल की खरीद। इस योजना के तहत ऋण का उपयोग परिवहन, खुदरा, निर्माण, सेवा क्षेत्र और अन्य लघु उद्योगों में किया जा सकता है। प्रस्तुत अध्ययन सिरसा जिले के संदर्भ में इस योजना के प्रभाव का मूल्यांकन करता है।
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